बेटी से मिलने पर युवक की खाैफनाक की गई हत्या; 34 KM बाइक पर लाश लेकर जंगल में गए आरोपी, गला दबाया फिर बाइक के साथ जलाया
बहजोई। असमोली क्षेत्र के जंगल में एक ईंट भट्ठे के निकट जले मिले युवक के शव और बाइक के मामले में पुलिस ने पर्दाफाश किया है। जिसमें बेटी से बात करने और घर आकर मिलने से क्षुब्ध होकर एक आरोपित ने बेटे साथ मिलकर युवक की पहले रस्सी से गला दबाकर हत्या की थी, फिर उसके शव को जंगल में ले जाकर उसकी ही बाइक के साथ जला दिया था। बहजोई रिजर्व पुलिस लाइन सभागार में प्रेस वार्ता करते हुए पुलिस अधीक्षक कुलदीप सिंह गुनावत ने बताया कि दो अप्रैल की रात्रि करीब आठ बजे को असमोली क्षेत्र के गांव मालपुर उर्फ मल्लूपुरा के जंगल में एक ईंट भट्ठे के निकट जली हुई अवस्था में एक शव और उसके निकट बाइक मिली थी। जिसकी शिनाख्त कय्यूम पुत्र मकबूल निवासी मालपुर उर्फ मल्लूपुरा थाना असमोली के रूप में हुई थी।
न्यायालय में तारीख के लिए गया था युवक…
मृतक के भाई सय्यूम ने बताया कि भाई एक अप्रैल को घर से रामपुर स्थित न्यायालय में तारीख करने गया था लेकिन दूसरे दिन भी वापस नहीं लौटा था। रिपोर्ट दर्ज कराते हुए आरोप लगाया कि गांव के ही रिजवान, इमरान और मजाद ने उनके भाई को जलाकर मार डाला। पुलिस ने आईपीसी की धारा 302 और 201 में रिपोर्ट दर्ज की और जांच में जुटी। शव का पोस्टमार्टम भी कराया, जिसमें मृत्यु का कारण जलने से नहीं बल्कि कई घंटे पहले गला दबाने से बताया गया।
नामजद आरोपियों को लिया था हिरासत में…
नामजद आरोपितों को हिरासत में लेकर पूछताछ की गई लेकिन कोई साक्ष्य हाथ नहीं लगा। फिर मृतक के मोबाइल नंबर की लोकेशन के आधार पर पुलिस के आपरेशन त्रिनेत्र के अंतर्गत प्रमुख चौराहों पर लगे सीसीटीवी फुटेज खंगाले, जिसमें दो युवक मृतक को बीच में बिठाकर जंगल में ले जाते दिखे, जिसमें एक युवक ने एक ने पेट्रोल पंप से बोतल में पेट्रोल भी खरीदा था।
सीसीटीवी फुटेज और लोकेशन से खुला हत्याकांड राज…
छह अप्रैल को लोकेशन और फुटेज के आधार पर मुरादाबाद के थाना मूंडापांडे के गांव नियामतपुर इकरोटिया उर्फ उधमपुर में रहने इरफान और उसके बेटे हाशिम को मनौटा तिराहे से हिरासत में लेकर पूछताछ की तो उन्होंने पूरी घटना का राज उगल दिया और बताए कि मृतक कय्यूम अपराधिक प्रवृत्ति का था और डरा धमकाकर उनके घर पर आता और बेटी से बात करता था। जिससे परेशान होकर उन्होंने पहले घर पर ही रस्सी से गला दबाकर उसकी हत्या कर दी और साक्ष्य छुपाने के लिए बाद में जंगल में ले जाकर जला दिया।
34 किमी तक अंधेरे में बाइक पर रखकर ले गए थे शव…
पुलिस की पूछताछ में आरोपित पिता-पुत्र ने बताया कि एक अप्रैल की सुबह तकरीबन 11:30 बजे कय्यूम उनके घर पर पहुंच गया था। जब वह घर पर मौजूद नहीं थे लेकिन शाम के वक्त लौटे तो घर पर मौजूद मिला। इसी दौरान उन्होंने शाम तकरीबन सात बजे उसकी हत्या कर दी और घर से करीब 34 किमी की दूरी एक घंटे में तय अपने पैतृक गांव मालपुर उर्फ मल्लूपुरा थाना असमोली संभल के जंगल में पहुंचे, जहां उसके शव को बाइक के साथ जला दिया। बाद में पैदल घर चले गए। जिसमें दूसरे दिन की रात को शव मिल सका। लेकिन जैसे ही पुलिस को उनके घर की लोकेशन पता लगी तो भागने का प्रयास करने लगे। जिनका लगातार पीछा करते हुए मनौटा तिराहे से हिरासत में लिया गया।
ऐसे मिली पुलिस को कामयाबी
वारदात के दौरान ही आरोपितों ने मृतक के मोबाइल को जला दिया था लेकिन उसके मोबाइल नंबर को ट्रेस किया गया तो उसकी अंतिम लोकेशन इरफान के घर पर ही मिली थी। जहां एक अप्रैल की शाम को मोबाइल बंद हुआ था। जिसके माध्यम से आरोपित की तलाश हुई और सीसीटीवी फुटेज निकालते हुए इस बात की पुष्टि हुई।
एक साल पहले गांव छोड़कर चला गया आरोपितों का परिवार…
पुलिस की पूछताछ में इरफान ने बताया कि जब वह मालपुरा में ही रहते थे। तब कय्यूम उनके घर आता था और अलग-अलग स्थान पर चोरी की वारदात करता था। चोरी का सामान उनके घर पर आकर छिपाता था। जब इसका विरोध करते थे तो वह धमकता था और इसी दौरान उसने बेटी से बात करना शुरू कर दिया था। जिसके डर की वजह से वह एक साल पहले ही गांव छोड़कर नियामतपुर इकरोटिया में किराए पर कमरा लेकर रहने लगे थे।
पर्दाफाश करने वाली टीम को एसपी ने 10 हजार का दिया पुरस्कार
एसपी ने बताया कि यह घटना बेहद संदिग्ध थी क्योंकि इसमें तीन लोगों के विरुद्ध नामजद रिपोर्ट लिखी गई थी। निर्दोष लोगों को बचाने के साथ ही दोषियों को पकड़ने के लिए आपरेशन त्रिनेत्र काम आया पुलिस ने काफी मेहनत की। जिसके चलते प्रभारी निरीक्षक असमोली हरीश कुमार, उपनिरीक्षक उपेंद्र मलिक, सर्विलांस प्रभारी रामवीर सिंह, एसओजी प्रभारी दीपक राणा के अलावा हेड कांस्टेबल योगेश तोमर, मूला सिंह, कांस्टेबल विकेश कुमार, रोबिन राठी और मोहित गौतम की टीम को 10 हजार रुपए का पुरस्कार दिया गया है।
असमोली क्षेत्र के जंगल में जली हुई अवस्था में मिले युवक के शव और बाइक की घटना का पर्दाफाश करना पुलिस के लिए बड़ी चुनौतीपूर्ण था लेकिन कम समय में ही आपरेशन त्रिनेत्र के अंतर्गत लगे सीसीटीवी कैमरे का प्रयोग करते हुए इसका पर्दाफाश किया गया है। टीम को पुरस्कृत किया है।