पुलिस ने किया खुलासा दादा की हत्या का बदला लेने के लिए पूर्व प्रधान को मारी गई थी गोली
उत्तर प्रदेश के गोरखपुर जिले में दादा प्रकाश शुक्ला की हत्या का बदला लेने के लिए कनईल के अर्पित ने हिस्ट्रीशीटर पूर्व प्रधान शशि मौली शुक्ला को गोली मारी थी। वारदात को अर्पित ने अपने बुआ के नाबालिग लड़के और दोस्तों के साथ मिलकर अंजाम दिया। पुलिस ने अर्पित के बुआ के लड़के सहित चार आरोपियों को दबोच कर घटना का पर्दाफाश किया है। एक आरोपी आजमगढ़ के संजरपुर के आकाश को मुठभेड़ में दाहिने पैर में पुलिस की गोली लगी है। उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया है। भागने में मददगार और शरणदाता की भूमिका पाए जाने पर पुलिस ने बेलीपार के महाडीह गांव निवासी रितेश को भी गिरफ्तार किया है। चार में से दो बदमाश नाबालिग हैं। उन्हेें बाल सुधार गृह भेज दिया गया। रितेश को पुलिस ने कोर्ट में पेश किया, जहां से जेल भेज दिया गया। आरोपियों के पास से पुलिस ने दो पिस्टल, खोखा, कारतूस और घटना में इस्तेमाल एक बाइक बरामद किया है।पुलिस की जांच में सामने आया है कि सभी बदमाश व्हाट्सएप ग्रुप बनाकर वारदात कर रहे हैं। हालांकि, अन्य पकड़े गए आरोपियों का आपराधिक इतिहास नहीं है, लेकिन मारपीट की घटनाएं कर चुके हैं।
पुलिस ग्रुप में जुड़े अन्य बदमाशों की कुंडली भी खंगाल रही है। घटना में शामिल कनईल निवासी अर्पित और रामगढ़ताल इलाके के कजाकपुर न्यू कॉलोनी निवासी देवेश द्विवेदी अभी फरार हैं। एसएसपी डॉ. गौरव ग्रोवर व एसपी सिटी कृष्ण कुमार बिश्नोई ने पुलिस लाइंस में प्रेस कांफ्रेंस कर पकड़े गए बदमाशों के बारे में जानकारी दी। एसएसपी ने बताया कि कनईल गांव के शशि मौली शुक्ला कजाकपुर थाना क्षेत्र रामगढ़ताल में अपने मकान का निर्माण करा रहे थे। 29 मार्च को पूर्व की रंजिश में अर्पित शुक्ला ने साथियों के साथ आया और शशि मौली शुक्ला के ऊपर फायर कर दिए, जिसमें शशि मौली शुक्ला को चार गोली लगी। केस दर्ज कर पुलिस ने जांच की तो सामने आया कि अर्पित उर्फ अमन शुक्ला के दादा श्रीप्रकाश शुक्ला की हत्या साल-1995 में हुई थी, जिसमें शशि मौली शुक्ला मुल्जिम बने थे और जेल गए थे। अर्पित शुक्ला जब बड़ा हुआ तो अपने दादा की हत्या का बदला लेने के लिए अपने गांव के नाबालिग लड़के व आजमगढ़ में रहने वाले अपने बुआ के लड़के (बाल अपचारी) से बात की और फिर वारदात को अंजाम दिया। सभी एक व्हाट्सएसप ग्रुप से जुड़े हैं।
वार्ता के बाद संदेश ग्रुप पर चलने पर अर्पित के बुआ का लड़का आकाश कुमार को लेकर 29 मार्च को ग्राम कनईल आया, जहां पर अर्पित शुक्ला व गांव के लड़के व आजमगढ़ के दोनों लड़के मिले, वहां से अर्पित आजमगढ़ के अपने दोनों साथियों के साथ गोरखपुर आया, जहां उसका साथी मंटू उर्फ देवेश द्विवेदी मिला। चारों बदमाशों के पास असलहे थे। ये लोग शशि मौली शुक्ला की गाड़ी के पास जाकर छिप गए और उनके आते ही ताबड़तोड़ फायरिंग कर फरार हो गए। वारदात के बाद भागते समय अर्पित शुक्ला अपनी बाइक से आजमगढ़ के दोनों साथियों के साथ निकल गया। सभी बेलीपार थाना के ग्राम महाडीह निवासी और दोस्त रितेश शुक्ला के घर पर पहुंचे। वहां से आजमगढ़ के दो बदमाशों को अर्पित ने बाइक दे दी। फिर अर्पित रितेश शुक्ला के साथ कार से फरार हो गया। वहीं, देवेश उर्फ मंटू अपनी गाड़ी से वहां से फरार हो गया। एसएसपी ने बताया कि शनिवार की रात 1.30 बजे के करीब पुलिस वाहनों की चेकिंग कर रही थी। एसपी सिटी कृष्ण कुमार बिश्नोई ने बताया कि पुलिस द्वारा रामपुर हनुमान मंदिर तिराहा पर एक बाइक सवार को रोकने का प्रयास किया, उसी दौरान अपराधियों ने पुलिस टीम पर फायरिंग कर दी।
खुद को बचाते हुए पुलिस ने जवाबी कार्रवाई की तो एक बदमाश के पैर में गोली लग गई और वह गिर गया। जबकि, उसका दूसरा साथी फरार हो गया। रामगढ़ताल पुलिस ने प्रभारी निरीक्षक शशीभूषण राय की तहरीर पर आरोपियों के खिलाफ हत्या की कोशिश व अन्य धाराओं में केस दर्ज कर लिया गया है। पकड़े गए आरोपी की पहचान आजमगढ़ के आकाश के रूप में हुई। आकाश ने फरार साथी का नाम अर्पित बताया है। उसकी तलाश में पुलिस टीम लगी है। दोनों पर 25-25 हजार रुपये का इनाम भी घोषित है। गोली लगने से घायल होने के बाद आकाश पुलिस के सामने खुद के जान की दुहाई मांगने लगा। एसपी सिटी कृष्ण कुमार बिश्नोई से उसने कहा साहब गलती हो गई, अगली बार होगी, तो सिर में गोली मार देना। अब कभी अपराध नहीं करेंगे। बहुत दर्द हो रहा है, बचा लो। यह बोल 25 हजार के इनामी बदमाश आकाश के है। बेखौफ बदमाश की तरह दिनदहाड़े चौराहे पर गोली चलाने में उसे डर नहीं लगा, लेकिन पुलिस की गोली लगने के बाद अपराध का खौफ कायम करने की मनसा पल भर में उतर गई। बचने के लिए पहले तो उसने पुलिस पर गोलियां दागीं लेकिन जब खुद गोली लगी, तो जिंदगी की भीख मांगने लगा।
बेलीपार इलाके के कनईल गांव के पूर्व प्रधान शशि मौली शुक्ला की हत्या के आरोपियों को पुलिस ने मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार कर घटना का पर्दाफाश किया है। दादा प्रकाश शुक्ला की हत्या का बदला लेने के लिए कनईल के अर्पित ने हिस्ट्रीशीटर पूर्व प्रधान को गोली मारी थी। वारदात को अर्पित ने अपने बुआ के नाबालिग लड़के और दोस्तों के साथ मिलकर अंजाम दिया। पुलिस ने अर्पित के बुआ के लड़के सहित चार आरोपियों को मुठभेड़ के बाद पकड़ा। एक आरोपी आजमगढ़ के संजरपुर के आकाश को मुठभेड़ में दाहिने पैर में पुलिस की गोली लगी है। उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया है। भागने में मददगार और शरणदाता की भूमिका पाए जाने पर पुलिस ने बेलीपार के महाडीह गांव निवासी रितेश को भी गिरफ्तार किया है। चार में से दो बदमाश नाबालिग हैं। उन्हेें बाल सुधार गृह भेज दिया गया। रितेश को पुलिस ने कोर्ट में पेश किया, जहां से जेल भेज दिया गया।