राजधानी लखनऊ में अंडर ट्रेनी महिला कांस्टेबल सरिता निषाद ने फांसी के फंदे पर झूलकर कर ली आत्महत्या
उत्तर प्रदेश पुलिस में महिला सिपाहियों द्वारा लगातार आत्महत्या की घटना पर योगी सरकार को करना चाहिए चिंतन कि किस वजह से महिला सिपाहियों द्वारा जीवन समाप्त करने का लिया जा रहा है,फैसला
लखनऊ। यूपी की राजधानी लखनऊ में अंडर ट्रेनी महिला कांस्टेबल सरिता निषाद (sarita nisad) ने गले में फांसी का फंदा लगाया और उस पर झूलकर रविवार 15 मई, 2022 को आत्महत्या कर ली। सरिता निषाद मूल रुप से आगरा जिले के फतेहाबाद थाना क्षेत्र के श्रीकृष्णपुरा भरापुर की रहने वाली थी। उसके पिता सुरेश चन्द्र निषाद प्राथमिक विद्यालय में शिक्षक हैं।
सरिता निषाद वर्ष- 2021 बैच की महिला कांस्टेबल थी। उसकी पहली पोस्टिंग लखनऊ के पीजीआई थाने पर हुई थी। वह ओमनगर में किराये के मकान में रहती थी। मिली जानकारी के मुताबिक वह चार दिन पहले अवकाश लेकर घर गयी थी। रविवार को ही वह घर से लौटी थी। सोमवार को वह ड्यूटी ज्वाइन करती। रविवार की दोपहर बाद उसका शव कमरे में फंदे पर लटकता हुआ पाया गया।बताया जा रहा है कि आत्महत्या करने से पहले कांस्टेबल सरिता निषाद किसी से वीडियो काल पर बात कर रही थी। इसके बाद उसने आत्महत्या कर ली।
सिपाही सरिता निषाद के सम्बंध में आत्महत्या की घटना की जानकारी होते ही पुलिस अधिकारी मौके पर पहुंचे और कमरे की छानबीन की। कमरे में कोई सुसाइड नोट नहीं पाया गया है। परिजनों को घटना की जानकारी दे दी गयी है। परिजन बेटी की मौत की घबर सुनकर हैरान हो उठे। वह समझ पाने में असमर्थ हैं कि किस वजह से उसकी बेटी अपने जीवन को यूं ही इस मोड़ पर आकर समाप्त कर लिया। महिला सिपाहियों की आत्महत्या करने की घटना पर समाज और सरकार समय के साथ विचार न किया तो आने वाला समय और भयानक होगा। आत्महत्या की वजह निकालकर महिला सिपाहियों को ट्रेनिंग के दौरान उन्हें समाज रक्षा के साथ-साथ आत्महत्या के प्रति जागरूक करना होगा।