नए संसद भवन में अशोक स्तंभ का PM मोदी ने किया, अनावरण

दिल्ली। नए संसद भवन में अशोक स्तंभ का अनावरण PM मोदी ने किया। राष्ट्रीय राजधानी में नए संसद भवन की छत पर राष्ट्रीय प्रतीक का अनावरण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार किया। उद्घाटन के मौके पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला, राज्यसभा के उपसभापति हरिवंश और शहरी विकास मंत्री हरदीप सिंह उनके साथ थे। इस वर्ष के अंत में  संसद के शीतकालीन सत्र के समय में नए भवन के निर्धारित उद्घाटन से पहले कांस्य प्रतीक का उद्घाटन पहला बड़ा मील का पत्थर है। जिस अशोक स्तंभ चिन्ह का पीएम मोदी ने अनावरण किया है। उसका वजन 9500 किलोग्राम है, जो कांस्य से बनाया गया है। इसके सपोर्ट के लिए करीब 6500 किलोग्राम वजन वाले स्टील की एक सहायक संरचना का भी निर्माण किया गया है। 

आईये जाने नए संसद भवन के ऊपर राष्ट्रीय प्रतीक के बारे में कुछ खास बातें…

1. भारत का 6.5 मीटर का राज्य प्रतीक, जिसका वजन 9,500 किलोग्राम है, पूरी तरह से भारतीय कारीगरों द्वारा तैयार किया गया है और यह उच्च शुद्धता वाले कांस्य से बना है। 

2. इसे सहारा देने के लिए लगभग 6,500 किलोग्राम वजनी स्टील की संरचना का निर्माण किया गया है। 

3.भारत का राज्य चिन्ह अशोक के सारनाथ स्थित सिंह चतुर्मुख स्तंभ का एक रूपांतर है जिसे सारनाथ संग्रहालय में संरक्षित किया गया है। सारनाथ के अशोक स्तंभ में चार शेर एक वृत्ताकार चक्र पर एक-दूसरे के पीछे-पीछे खड़े हैं। 

4. नए संसद भवन की छत पर राष्ट्रीय प्रतीक की ढलाई की अवधारणा और रूपरेखा तैयार करने के आठ अलग-अलग चरणों से गुजरी। 

5. एक कंप्यूटर ग्राफिक स्केच बनाया गया था और उसके आधार पर एक क्ले मॉडल बनाया गया था। एक बार सक्षम अधिकारियों द्वारा अनुमोदित होने के बाद, एफपीआर मॉडल बनाया गया था। 

6. मॉडल से एक मोल्ड बनाया गया था, और इस नकारात्मक मोल्ड के अंदर पिघला हुआ मोम के साथ अंतिम कांस्य की वांछित मोटाई के लिए ब्रश किया गया था। मोल्ड को हटाने के बाद, परिणामस्वरूप मोम के खोल को गर्मी प्रतिरोधी मिश्रण से भर दिया गया। 

7. मोम ट्यूब, जो कास्टिंग के दौरान कांस्य डालने के लिए नलिकाएं प्रदान करती हैं, और प्रक्रिया में उत्पादित गैसों के लिए वेंट, मोम के खोल के बाहर फिट किए गए थे। इसे सुरक्षित करने के लिए धातु के पिनों को खोल के माध्यम से कोर में अंकित किया गया था। इसके बाद, तैयार मोम के खोल को पूरी तरह से गर्मी प्रतिरोधी फाइबर प्रबलित प्लास्टिक की परतों में कवर किया गया था, और पूरे को उल्टा करके ओवन में रखा गया था। 

8. गर्म करने के दौरान, प्लास्टर सूख जाता है और मोम ट्यूबों द्वारा बनाई गई नलिकाओं के माध्यम से मोम बाहर निकल जाता है. फिर प्लास्टर मोल्ड को रेत में पैक किया गया, और पिघला हुआ कांस्य नलिकाओं के माध्यम से डाला गया, मोम द्वारा छोड़े गए स्थान को भर दिया। 

9. ठंडा होने पर, बाहरी प्लास्टर और कोर को हटा दिया गया, और कांस्य को अंतिम रूप दिया गया। 

10. अंत में, प्रतिमा को पॉलिश और उभारा गया, और सुरक्षात्मक पॉलिश के स्पष्ट कोट के साथ तैयार किया गया और समृद्ध धातु को प्रदर्शित करने के लिए कोई पेंट नहीं था। 

11. देश में कहीं और सामग्री और शिल्प कौशल के दृष्टिकोण से प्रतीक का कोई अन्य समान चित्रण नहीं है। 

12. देश के विभिन्न हिस्सों के 100 से अधिक कारीगरों ने छह महीने से अधिक समय तक प्रतीक के डिजाइन, क्राफ्टिंग और ढलाई पर काम किया। 

13. स्थापना अपने आप में एक चुनौती थी क्योंकि यह ऊपरी जमीनी स्तर से 32 मीटर ऊपर था। 

उत्तर प्रदेश के सारनाथ स्तंभ से लिया गया है,भारतीय गणतंत्र का प्रतीक चिह्न…

भारत सरकार का प्रतीक चिह्न सरानाथ स्थित अशोक के स्तंभ से लिया गया है। सारनाथ में अशोक ने जो स्तम्भ बनवाया था, उसके शीर्ष भाग को सिंहचतुर्मुख कहते हैं। इस मूर्ति में चार भारतीय सिंह पीठ-से-पीठ सटाये खड़े हैं। अशोक स्तम्भ अब भी अपने मूल स्थान पर स्थित है, किन्तु उसका यह शीर्ष-भाग सारनाथ के संग्रहालय में रखा हुआ है। यह सिंहचतुर्मुख स्तम्भशीर्ष ही भारत के राष्ट्रीय चिह्न के रूप में स्वीकार किया गया है। इसके आधार के मध्यभाग में अशोक चक्र को भारत के राष्ट्रीय ध्वज में बीच की सफेद पट्टी में रखा गया है। अधिकांश भारतीय मुद्राओं एवं सिक्कों पर अशोक का सिंहचतुर्मुख रहता है। बौद्ध धर्म में शेर को विश्वगुरु तथागत बुद्ध का पर्याय माना गया है। बुद्ध के पर्यायवाची शब्दों में शाक्यसिंह और नरसिंह भी है, यह हमें पालि गाथाओं में मिलता है। इसी कारण बुद्ध द्वारा उपदेशित धम्मचक्कप्पवत्तन सुत्त को बुद्ध की सिंहगर्जना कहा गया है। बौद्ध धर्म में शेर को विश्वगुरु तथागत बुद्ध का पर्याय माना गया है।

बुद्ध के पर्यायवाची शब्दों में शाक्यसिंह और नरसिंह भी है, यह हमें पालि गाथाओं में मिलता है। इसी कारण बुद्ध द्वारा उपदेशित धम्मचक्कप्पवत्तन सुत्त को बुद्ध की सिंह गर्जना कहा गया है। सारनाथ का स्तंभ बौद्ध धर्म के प्रवर्तक गौतम बुद्ध के धर्मचक्र प्रवर्तन की घटना का स्मारक था और धर्मसंघ की अक्षुण्णता बनाए रखने के लिए इसकी स्थापना हुई थी। यह चुनार के बलुआ पत्थर के लगभग 45 फुट लंबे प्रस्तरखंड का बना हुआ है। धरती में गड़े हुए आधार को छोड़कर इसका दंड गोलाकार है, जो ऊपर की ओर क्रमश: पतला होता जाता है। दंड के ऊपर इसका कंठ और कंठ के ऊपर शीर्ष है। कंठ के नीचे प्रलंबित दलोंवाला उलटा कमल है। गोलाकार कंठ चक्र से चार भागों में विभक्त है। उनमें क्रमश: हाथी, घोड़ा, सांढ़ तथा सिंह की सजीव प्रतिकृतियां उभरी हुई है। कंठ के ऊपर शीर्ष में चार सिंह मूर्तियां हैं जो पृष्ठत: एक दूसरी से जुड़ी हुई हैं। इन चारों के बीच में एक छोटा दंड था जो 32 तिल्लियों वाले धर्मचक्र को धारण करता था, जो भगवान बुद्ध के 32 महापुरूष लक्षणों के प्रतीक स्वरूप था। अपने मूर्तन और पालिश की दृष्टि से यह स्तंभ अद्भुत है। 

औरंगाबाद में मॉब लिंचिंग का मामला; कार सवार तीन लोगों की हत्या को लेकर 6 लोगों को पुलिस ने किया गिरफ्तार, वीडियो फुटेज से हुई पहचान     |     ट्रेन हादसा होते होते टला, प्लेटफॉर्म के पास मालगाड़ी के पहिए पटरी से उतरे, रेलवे टीम राहत-बचाव में जुटी     |     पुलिस और बदमाशों के बीच हुई मुठभेड़ में बावरिया गिरोह के 8 सदस्य को पुलिस ने किया गिरफ्तार, 6 हुए फरार     |     हत्यारा बना रूम पार्टनर; मामूली सी बात पर युवक की रस्सी से गला घोंटकर हत्या     |     हरणी झील में बड़ा हादसा; नाव पलटने से दो शिक्षकों और 13 छात्रों समेत 15 की हुई मौत      |     सरप्राइज देने के लिए पहाड़ी पर गर्लफ्रेंड को बुलाया, फिर चाकू से गला काटकर कर दी हत्या     |     बीमार ससुर से परेशान बहू ने उठाया खौफनाक कदम गला दबाकर की हत्या, आरोपी महिला को पुलिस ने किया गिरफ्तार     |     हत्यारों ने हैवानियत की हदें की पार,मां-बेटी की गला रेतकर बेरहमी से हत्या,शव के साथ हुई बर्बरता,शव देखकर कांप गए देखने वाले     |     अजब गजब:जीवित रहते हुए की अपनी तेरहवीं,तेरहवीं में शामिल हुआ पूरा गांव, 2 दिन बाद हुई मौत,हर कोई रह गया दंग     |     दबंगों ने व्यापारी पर बरसाईं गोलियां, हमले में पिता की हुई मौत, बेटे की हालत गंभीर      |     अज्ञात वाहन ने स्कूटी और बाइक को मारी टक्कर, हादसे में दो कांवड़ियों की हुई मौत; दो लोग हुए घायल     |     करंट की चपेट में आने से चाची की हुई मौत, हादसे से आहत भतीजी ने भी फांसी लगाकर दी जान     |     युवक का ‘गजनी’ जैसा अंजाम, शरीर पर गुदवाए थे दुश्मनों के नाम; आरोपियों ने बुलाया और कर दी हत्या     |     गर्ल्स पीजी में घुसकर महिला की चाकू से गला रेतकर की गई हत्या     |     कुख्यात माफिया अतीक अहमद के कब्जे से मुक्त कराई गई जमीन पर बनेगा पीएम आवास व महिला संरक्षण गृह,पीडीए ने मांगी जमीन     |     शामली से वैष्णो देवी के लिए इकरा हसन ने मांगी सीधी ट्रेन, संसद में दिया गया बयान वायरल     |     आगरा-लखनऊ एक्सप्रेसवे पर भीषण सड़क हादसा, खड़े ट्रक से टकराई टूरिस्ट बस, तीन की मौके पर हुई मौत, 87 लोग घायल      |     पत‍ि को था पत्नी के अवैध संबंधों का शक; सऊदी अरब से भांजे को दे दी हत्‍या की सुपारी, पुलिस ने दो आरोपियों को किया गिरफ्तार     |     प्रेम प्रसंग में किशोरी की अपहरण के बाद हत्या, एक सप्ताह से थी लापता     |    

Don`t copy text!
पत्रकार बंधु भारत के किसी भी क्षेत्र से जुड़ने के लिए इस नम्बर पर सम्पर्क करें- 9721975000